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पत्र-लेखन - 10 वीं कक्षा की तीसरी भाषा हिंदी पाठ्यपुस्तक प्रश्नावली

 
 पत्र-लेखन

व्यक्तिगत पत्र

I. पिता को पत्र:
दिनांक 12-11-2018
पूज्या पिताजी,
सादर प्रणाम।

मैं यहाँ आपके आशीर्वाद से कुशल हूँ। आपका पत्र मिला, पढकर अत्यन्त खुशी हुई। मेरी पढाई ठीक चल रही है। आपकी आज्ञानुसार मन लगाकर दिन-रात पढाई में व्यस्त रहता हूँ। खेल-कूद या गपशप में ज्यादा समय पूँवा नहीं रहा हूँ।
हमारे स्कूल की ओर से अगले महीने 10 से 13 तारीख तक शैक्षिक-यात्रा का आयोजन हुआ है। उसमें मेरे सारे मित्र जा रहे हैं। उनके साथ मैं भी जाना चाहता हूँ। इसलिए मनीआर्डर द्वारा मुझे तुरन्त पाँच सौ रुपये भेजने की कृपा करें।
माताजी को मेरा प्रणाम, छोटी बहन प्रिया को ढेर सारा प्यार।

धन्यवाद के साथ
आपका आज्ञाकारी बेटा
हर्ष
सेवा में,
श्री प्रभाकर बी. एम.
घर नं. 521, भरत निवास
कर्नाटक स्कूल के समीप
राजेश्वरी नगर, बीदर जिला

II. प्रमाण पत्र के लिए पत्र:

दिनांक 07-05-2018
प्रेषक,
सचिन,
नौवीं कक्षा, ‘बी’ सेक्शन,
सरकारी हाईस्कूल,
राजाजीनगर, बेन्गलूरु-560 010.

सेवा में,
प्राचार्या,
सरकारी हाईस्कूल,
राजाजीनगर, बेन्गलूरु-560 010.
विषय : प्रमाण पत्र हेतु
महोदया,
आपसे निवेदन है कि मेरे पिताजी का तबादला मैसूर में हो गया है। उनके साथ मुझे भी जाना होगा।
अतः अनुरोध करता हूँ कि मुझे नौवीं कक्षा उत्तीर्ण होने का प्रमाण पत्र, स्कूल छोड़ने का प्रमाण पत्र तथा चरित्र प्रमाण पत्र देने की कृपा करें।
धन्यवाद,
आपका आज्ञाकारी छात्र
सचिन

→ अपनी पाठशाला में मनाये गये स्वतंत्रता दिवस के बारे में अपने मित्र को एक पत्र लिखिए।
1725, वार्ड-3
कुवेंपु मार्ग,
बिजापुर
दिनांक : 30 आगस्त 2019
प्रिय मित्र नागेश,
सप्रेम नमस्ते।
इस वर्ष हमारे स्कूल में प्रति वर्ष की भाँति ‘स्वतंत्रता-दिवस’ बहुत ही वैभवपूर्ण तरीके से मनाया गया। देशभक्त महापुरुषों के वेश बनाकर, जुलूस निकाला गया।
नगर के प्रमुख उद्योगपति श्री पाटील जी मुख्य अतिथि के रूप में पधारे थे और उन्होंने ही तिरंगा ध्वज फहराया था। उन्होंने अपने भाषण में विद्यार्थियों से कहा कि देश की रक्षा के लिए अच्छे नागरिक बनें।
सामूहिक गीत ‘ए मेरे वतन के लोगों …..’ सबको बहुत पसंद आया। स्कूल के अधिकारियों ने सभी विद्यार्थियों को मिठाई बाँटी। इस प्रकार ‘स्वतंत्रता-दिवस’ हमारे लिए अविस्मरणीय रहा।
तुम्हारा मित्र,
रघुवीर
सेवा में
श्री नागेश
1375, तीसरा क्रास
त्यागराजनगर
बेंगलूरु

→ अपने स्कूल के बारे में बताते हुए अपनी माता को एक पत्र लिखो।
दावणगेरे
दिः 5 जुलाई 2019
पूज्य माताजी,
सादर प्रणाम।
आपका आशीर्वाद-भरा पत्र मिला। आपने जो-जो बातें बताई हैं, वे वास्तव में बहुत अच्छी हैं। मैं उनका बराबर पालन करूँगी।
पूज्य पिताजी और भैया के विशेष प्रयत्न से मुझे अच्छे स्कूल में प्रवेश मिला है। यहाँ का वातावरण बहुत अच्छा है। स्कूल में बहुत ही अनुभवी अध्यापक तथा अध्यापिकाएँ हैं। वे हमें सही मार्गदर्शन कर रहे हैं। हमारे साथ में उनका बड़ा ही मधुर व्यवहार है। प्रत्येक विद्यार्थी के बारे में वे विशेष ध्यान रखते हैं। मेरी सहेलियों का भी अच्छा सहयोग मिल रहा है। कुल मिलाकर मेरा स्कूल एक आदर्श स्कूल है।
आपकी लाडली पुत्री,
माधुरी दीक्षित
सेवा में
श्रीमती लीला
51/बी, ब्रॉडवे,
कोप्पीकर मार्ग,
हुबली (धारवाड़ जि.)

→ अपने जन्मदिन पर आमंत्रित करते हुए मित्र के नाम एक पत्र लिखिए।
बागलकोट
दिनांक : 15 अगस्त 2019
प्रिय मित्र मुरगेश,
सप्रेम नमस्ते।
आगामी 25 अगस्त को मेरा जन्म-दिवस है। इस बार मेरा जन्म-दिवस कुछ विशेष तरीके से मनाने का परिवार वालों ने निर्णय किया है। मेरे सभी रिश्तेदारों के अलावा सभी मित्र आ रहे हैं।
अतः मेरा तुमसे आग्रह है कि तुम इस अवसर पर जरूर-जरूर आना। न आने का कोई बहाना नहीं बनाना। आशा है, तुम इस आमंत्रण को स्वीकार कर, एक दिन पूर्व जरूर आ जाओगे। मैं तुम्हारा इंतजार करूँगा।
शेष सर्व कुशल।
तुम्हारा मित्र,
बसवराज
सेवा में
श्री मुरुगेश
36, गाँधी बजार
हानगल

→ अपने स्कूल में संपन्न वार्षिकोत्सव के बारे में अपने पिताजी को पत्र लिखिए।
सरकारी हायर सेकेंड्री स्कूल,
एम.जी. रोड़,
शिवमोग्गा।
दिनांक : 8 जनवरी 2019
पूज्य पिताश्री,
सादर प्रणाम।
आपको लिखते हुए प्रसन्नता हो रही है कि दिसंबर की 26 तारीख को हमारे स्कूल का वार्षिकोत्सव बड़े ही धूमधाम से सम्पन्न हो गया है। इस प्रसंग पर कई प्रतियोगिताओं का आयोजन किया गया। रंगारंग सांस्कृतिक कार्यक्रम प्रस्तुत किए गए। कर्नाटक के शिक्षण मंत्री प्रधान वक्ता थे। सभी कार्यक्रम अनुशासनबद्ध सम्पन्न हुए। मुझे आपकी याद बहुत आई। कितना अच्छा होता, यदि आप भी उपस्थित रहते। खैर। पूज्य माताश्री को चरण-स्पर्श, लक्षिता को मधुर प्यार।
आपका सुपुत्र
दिनेश
सेवा में
श्री गगन अगरवाल
14, कुवेंपु नगर
बेंगलूर

→ अपनी पढ़ाई की प्रगति के बारे में बताते हुए अपने पिताजी को पत्र लिखिए।
बुधवार पेट,
रायचूर
दिनांक : 21 अगस्त 2019
आदरणीय पिताश्री,
चरण-स्पर्श।
आपका कृपा-पत्र मिला। पढ़कर खुशी हुई कि वहाँ सभी कुशल-मंगल हैं। मैं भी यहाँ आपकी कृपा से कुशल हूँ।
सितम्बर के दूसरे सप्ताह से हमारी अर्धवार्षिक परीक्षा प्रारंभ होनेवाली है। अतः इन दिनों पढ़ाई का जोर रहता है। यों तो नियमित पढ़ाई करता ही हूँ; फिर भी इस समय प्रातः 4-30 बजे उठकर पढ़ने में लग जाता हूँ। रात को भी करीब 11-30 तक पढ़ाई में तल्लीन रहता हूँ। क्रिकेट तो फिलहाल बंद है। शनिवार और रविवार को विज्ञान, गणित व अंग्रेजी की पढ़ाई रहती है। इसी कारण पत्र लिखने में विलंब हुआ। क्षमा करें। दीदी को प्रणाम।
शेष सर्व कुशल।
आपका आज्ञाकारी पुत्र,
राघवेन्द्र जोशी।
सेवा में
श्री राजकुमार जोशी
440, गांधी मार्ग
जमखंडी

→ सदाचार/चारित्रिक प्रमाण-पत्र की माँग करते हुए प्रधानाध्यापक के नाम पत्र लिखिए।
दिनांक : 15 अगस्त 2019
प्रेषक
मुरलीधर कुलकर्णी
विद्यारण्य हाईस्कूल,
खड़े-बजार, बेलगाँव।
सेवा में
सन्मान्य प्रधानाचार्य जी,
विद्यारण्य हाईस्कूल,
खड़े-बजार, बेलगाँव।
मान्यवर महोदय,
विषय : सदाचार प्रमाण पत्र हेतु
सविनय निवेदन है कि मैंने एस.एस.एल.सी. (मार्च 2019) की परीक्षा प्रथम श्रेणी में उत्तीर्ण की थी। इसके अतिरिक्त गत वर्ष मैंने खेलकूद में भी सक्रिय रूप से भाग लिया था।
अतः आपसे विनम्र प्रार्थना है कि मेरा चरित्र-प्रमाण-पत्र मेरे उक्त पते पर भेजने का कष्ट करें। क्योंकि इन दिनों मैं निजी कार्य से बेंगलूरु आया हुआ हूँ। मैं इसके लिए आपका सदा आभारी रहूँगा।
आपका शिष्य,
मुरलीधर कुलकर्णी

→ तीन दिन की छुट्टी माँगते हुए अपने प्रधान अध्यापक के नाम एक पत्र लिखिए।
अथवा
अपनी बहन की शादी में शामिल होने के लिए छुट्टी माँगते हुए अपने प्रधानाध्यापक के नाम एक पत्र लिखिए।
दिनांक : 06 जून 2019
प्रेषक
अशोक राव,
10वीं कक्षा ‘अ’ विभाग
सरकारी पाठशाला
उडुपी।
सेवा में
सन्मान्य प्रधानाध्यापक,
सरकारी पाठशाला,
मेन रोड, उडुपी।
मान्यवर महोदय,
विषय : छुट्टी के प्रार्थना पत्र
सविनय निवेदन है कि आगामी जून महीने के अंतिम सप्ताह में मैं अपने परिवार के साथ – बादामी, पट्टदकल, ऐहोले तथा कूडलसंगम की यात्रा के लिए जा रहा हूँ। अतः दि. 25-06-2019 से
27-06-2019 तक मैं स्कूल नहीं आ सकूँगा।
कृपया इन तीन दिनों की छुट्टी मंजूर करने का कष्ट करें। कष्ट के लिए क्षमा चाहता हूँ।
आपका आज्ञाकारी शिष्य,
अशोक राव

→ छात्रावास (विद्यार्थी निलय) में प्रवेश दिलाने के लिए प्रार्थना करते हुए अपने प्रधानाध्यापक के नाम एक पत्र लिखिए।
दिनांक : 7 जून 2019
प्रेषक
आर. वेंकटेश
नं. 403, चौथा वार्ड,
चित्रदुर्ग
सेवा में
मान्य प्रधानाध्यापक जी,
सरकारी प्रौढ़शाला,
मैसूर।
मान्यवर महोदय,
विषय : छात्रावास में प्रवेश के लिए प्रार्थना
सविनय निवेदन है कि मैंने आपके स्कूल में प्रवेश ले लिया है। मैं दसवीं कक्षा का विद्यार्थी हूँ। जैसा कि आप जानते हैं कि यहाँ मेरे कोई सगे-संबंधी नहीं हैं। अतः मैं छात्रावास में ही रहकर पढ़ाई करना चाहता हूँ।
कृपया मुझे छात्रावास में प्रवेश देने का कष्ट करें। मैं सभी नियमों का बराबर पालन करूँगा। जो भी शुल्क है, वह एक साथ भर दूंगा।
धन्यवाद।
आपका आज्ञाकारी,
आर. वेंकटेश

→ कॉलेज में प्रवेश पाने के लिए टी.सी. माँगते हुए अपने प्रधानाध्यापक को पत्र लिखिए।
दिनांक : 5 मई 2019
प्रेषक
संगमेश केलवड़ी,
नं. 7/ए., मेन रोड़,
गुलबर्गा।
सेवा में
मान्य प्रधानाध्यापक जी,
श्री विवेकानंद हाईस्कूल,
गुलबर्गा।
मान्यवर महोदय,
विषय : प्रमाण पत्र हेतु । सविनय निवेदन है कि मैं मार्च 2018 की एस.एस.एल.सी. परीक्षा में उत्तीर्ण हो गया हूँ। अब आगे कॉलेज में प्रवेश लेना चाहता हूँ। अतः मेरा टी.सी. प्रदान करने की कृपा करें, ताकि शीघ्र प्रवेश पा सकूँ। कष्ट के लिए क्षमा चाहता हूँ।
आपका विनम्र,
संगमेश केलवड़ी

→ अपने विद्यालय के प्रधानाध्यापक को अध्ययन प्रमाण पत्र के लिए प्रार्थना पत्र लिखिये।
दिनांक : 18 अप्रेल 2019
प्रेषक,
नारायण
10 वीं कक्षा, ‘आ’ विभाग
प्रगति हाई स्कूल
दावणगेरे।
सेवा में,
प्रधानाध्यापक
प्रगति हाई स्कूल
दावणगेरे।
आदरणीय महोदय,
विषय : अध्ययन प्रमाण पत्र के लिए प्रार्थना पत्र।
उक्त विषय के संबंध में आपसे सविनय प्रार्थना है कि मैं इस विद्यालय का दसवीं कक्षा का छात्र था। मैं दसवीं कक्षा में उत्तीर्ण हो गया हूँ। मैं आगे पढ़ने के लिए इच्छुक हूँ। इस लिए आपसे प्रार्थना है कि मुझे अध्ययन प्रमाण पत्र की आवश्यकता है। इसे देने की कृपा करें।
सधन्यवाद।
आपका आज्ञाकारी छात्र
नारायण

→ अपनी अस्वस्थता का कारण बताते हुए चार दिनों की छुट्टी के लिए अपने प्रधानाध्यापक के नाम एक छुट्टी पत्र लिखिए।
दिनांक : 7 मई 2019
प्रेषक,
देवराज
दसवीं कक्षा, ‘अ’ विभाग
मोरारजी देसाई हाई स्कूल
मैसूर – 03.
सेवा में,
माननीय प्रधानाध्यापकजी
मोरारजी देसाई हाई स्कूल
मैसूर – 03
मान्यवर महोदय,
विषय : छुट्टी हेतु प्रार्थना पत्र।
सविनय निवेदन है कि मैं पिछले तीन-चार दिनों से अस्वस्थ चल रहा हूँ। डॉक्टर महोदय ने मुझे कुछ दिन आराम करने की सलाह दी है। अतः आपसे प्रार्थना है कि मुझे स्कूल से चार दिन का अवकाश देने का कष्ट करें।
सधन्यवाद।
आपका आज्ञाकारी छात्र
देवराज

→ अपने किसी यात्रा वृत्तांत का वर्णन करते हुए पिता के नाम एक पत्र लिखिए।
सरस्वती विद्या मन्दिर
राजाजीनगर, बेंगलूरु
दिनांक : 7 फरवरी 2019
पूज्य पिताजी,
सादर प्रणाम।
उम्मीद है आप और माता जी कुशल मंगल होंगे। इस बार हमारे विद्यालय की ओर से आयोजित शैक्षणिक भ्रमण के लिए हमें विजयनगर साम्राज्य की राजधानी हंपी ले जाया गया। यह एक ऐतिहासिक नगर है जो कभी सुख समृद्धि में पूरे विश्व में मशहूर था। अब केवल यहाँ खंडहरों के रूप में अवशेष ही बचे हैं। हम्पी का विशाल फैलाव गोल चट्टानों के टीलों में विस्तृत है। इनमें मंदिर, महल, तहखाने, जल-खंडहर, पुराने बाजार, शाही मंडप, गढ़, चबूतरे, राजकोष आदि अनेक इमारतें हैं।
हम्पी का विठ्ठल मंदिर शानदार स्मारक है। इसके मुख्य हॉल के पूर्वी हिस्से में प्रसिद्ध शिला रथ है जो वास्तव में पत्थर के पहियों से चलता था। इसके अलावा कमल महल और जनानखाना भी ऐसे आश्चर्यों में शामिल है। शहर के शाही प्रवेश-द्वार पर हजारारामा मंदिर बना है। इस प्रकार इस शैक्षणिक भ्रमण से हमें कर्नाटक राज्य के इतिहास को जानने का अवसर मिला जिसे मैं आपको बताना चाहती थी। माताजी को प्रणाम और छोटे भैया को ढेर सारा प्यार।
आपकी सुपुत्री
शुभेक्षा
सेवा में,
श्री आनंद एस.
घर नं. 284, भारत निवास
डाकघर के समीप
महालक्ष्मी नगर, मैसूरु।

→ गाँव जाने के लिए चार दिनों की छुट्टी माँगते हुए अपने प्रधानाध्यापक को एक पत्र लिखिए।
दिनांकः 06 जून 2019
प्रेषकः
मोहन
दसवी कक्षा
सरकारी प्रौढ़शाला
बेंगलूर।
सेवा में:
प्रधानाध्यापक
सरकारी प्रौढ़शाला
बेंगलूर।
महोदय,
विषयः चार दिन की छुट्टी माँगते हुए। मैं आपके विद्यालय में कक्षा 10 ‘अ’ का छात्र हूँ। मेरे गाँव में श्रीरंगनाथस्वामी का जात्रा है। मेरे परिवार के सब लोग पूजा कार्य में भाग लेनेवाले है। मेरा भी जाना आवश्यक है। इसलिए आप से प्रार्थना हैं की कल से 10-06-2019 तक मुझें अवकाश प्रदान करने की कृपा करें।
धन्यवाद के साथ।
आपका आज्ञाकारी छात्र
मोहन


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