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पत्र-लेखन - 8 वीं कक्षा की तीसरी भाषा हिंदी पाठ्यपुस्तक प्रश्नावली

  पत्र-लेखन

1. अपने मित्र को छुट्टी के दिन गाँव आने के लिए एक पत्र लिखिए।
बेलगावी
29 अप्रैल 2018
प्रिय मित्र रामनारायण,
तुम्हारा पत्र मिला। पढ़कर खुशी हुई कि तुम अच्छे अंक पाकर उत्तीर्ण हो गये। इस समाचार को सुनकर बहन माया, मेरे पिता और माताजी अत्यंत प्रसन्न हुए। मेरी परीक्षा एक हफ्ते के अंदर खत्म हो जायेगी। तुम जरूर अपनी छुट्टी बिताने के लिए यहाँ आ जाना। हम दोनों मिलकर आसपास के प्रसिद्ध स्थानों को देखेंगे। अपना केमरा साथ जरूर लाना। यहाँ के कुछ दृश्य मनमोहक हैं। कुछ तस्वीरें उतार सकते हो। मैं तुम्हे लेने स्टेशन जरूर आऊँगा। पत्र की प्रतीक्षा
में,
तुम्हारा मित्र,
रमेशचंद्र
सेवा में
श्री. रामनारायण,
149, ‘रम्या’,
शांतिनगर,
बेलगावी, कर्नाटक.

2. एक ऐतिहासिक स्थान की यात्रा पर जाने के लिए रुपए माँगते हुए अपने पिताजी को एक पत्र लिखिए।
अथवा
प्रवास जाने के लिए 500 रु. माँगते हुए अपने पिताजी को एक पत्र लिखिए।
सरस्वती विद्यामंदिर
विवेकानन्द मार्ग
हुब्बल्ली – 4.
ता. 16 अप्रैल 2018
पूज्य पिताजी को सादर प्रणाम।
मैं यहाँ अच्छी हूँ। आप सब कैसे हैं? अच्छी तरह पढ़ रही हूँ। पिछले सेमेस्टर में मैं प्रथम आयी हूँ। इस पत्र का उद्देश्य यह है कि मई महीने के अंत में हमारे स्कूल में एक शैक्षणिक प्रवास का आयोजन किया गया है। यह प्रवास हमारे लिए लाभदायक है। प्रवास के लिए हम श्रवणबेळगोळ, बेलूर, हळेबीडु, धर्मस्थल, कुदुरेमुख उद्यानवन, मुरुडेश्वर, गोकर्ण, कारवार, मैसूर और बेंगलूर आदि जगहो को देखनेवाले हैं। इसलिए मैं आपसे प्रार्थना करती हूँ कि आप मुझे इस प्रवास पर जाने के लिए अनुमति देने की कृपा कीजिए तथा प्रवास शुल्क 500 रु. तथा मेरे खर्च के लिए 200 रुपये तुरंत भेजने की कृपा कीजिए।
अधिक समाचार नहीं। घर में पू. माताजी को मेरा सादर प्रणाम। अभि और बंटू को मेरा प्यार।
आपकी प्रिय पुत्री
सारिका
सेवा में
श्री. सुरेशचन्द्र
मेनेजर
सिंडिकेट बैंक
III ब्लाक, जयनगर
बेंगलूरु – 560011.

3. अपने स्कूल के बारे में बताते हुए अपनी माता को एक पत्र लिखिए।
वेंकटेश्वर हाईस्कूल
न्यूलाइन रोड़, कद्री
मंगलूरु – 1.
ता. 28 सितम्बर 2017
पूज्य माताजी को सादर प्रणाम।
मैं यहाँ अच्छा हूँ। आप सब कैसे हैं? सब कुशल है ना? मैं तो यहाँ अच्छी तरह पढ़ रहा हूँ।
मैं इस पत्र में अपने स्कूल के बारे में दो-चार बातें बताना चाहता हूँ। अम्मा, मेरा स्कूल सचमुच अच्छा है। प्रवेश होते समय मैं बहुत डर गया था। मेरे मुख्य अध्यापक और मेरे विषयाध्यापक सब अच्छे हैं। अच्छे रहमदिल हैं। अच्छा पढ़ाते हैं। मेरी कक्षा में 45 विद्यार्थी हैं। सब मेरे दोस्त बन गये हैं। इस स्कूल में खेलने के लिए काफी सुविधा है। सचमुच में मैं इस स्कूल में दाखिल होकर भाग्यवान हूँ। पिछले हफ्ते में वाद-विवाद स्पर्धा में मुझे द्वितीय पुरस्कार मिला है।
इस स्कूल में विद्यार्थियों के सर्वतोमुखी प्रगति के लिए काफी व्यवस्था है। एक बड़ा मैदान भी है। शाम के समय मैं वहाँ फुटबाल खेलता हूँ। बड़े मजे में मेरे दिन कट रहे हैं। मेरे बारे में आप चिंता मत कीजिए। अब के लिए काफी है। अधिक समाचार अगले पत्र में लिलूँगा। घर में चिंटू और मुन्नी को मेरा प्यार।
धन्यवाद,
आपका आज्ञाकारी पुत्र
अभिनय
सेवा में
श्रीमती दाक्षायिणी रमेश
1024, ‘सौगन्धी’
IV मैन, VII क्रास
जे.पी. नगर
बेंगलूरु – 560 049.

4. अपने जन्मदिन पर आमंत्रित करते हुए मित्र के नाम एक पत्र लिखिए।
49, भारद्वाज
IV क्रास, V मैन
विजयनगर
मैसूरु – 10.
दि. 13 जनवरी 2018
प्रिय मित्र मनोहर,
सप्रेम नमस्ते।
तुम कैसे हो? बहुत दिनों से तुम्हारा पत्र नहीं मिला। मैं तो यहाँ अच्छा हूँ।
ता. 28 जनवरी को मेरा जन्मदिन है। इस दिन को मेरे माता-पिता बड़ी खुशी के साथ मनाने वाले हैं। तुम एक बार भी मेरे घर नहीं आये हो। इस शुभ अवसर पर तुम्हें आमंत्रित करते मुझे बड़ी खुशी हो रही है। इसलिए जरूर आना।
अधिक समाचार नहीं। तुम्हारे आने के बाद विशेष समाचार हो तो बताऊँगा।
धन्यवाद।
तुम्हारा प्रिय मित्र
अभिराम आचार्य
सेवा में
मनोहर
S/o रवीन्द्रनाथ
1375, “सुमेरू”
III क्रास, IV मैन
त्यागराज नगर
बेंगलूरु – 560028.

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